कुल पेज दृश्य

26 जून 2009

गन्ना हो गया और भी मीठा

नई दिल्ली June 25, 2009
गन्ना उपजाने वाले प्रमुख राज्य महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव की तैयारी शायद सरकार ने शुरू कर दी है। इसीलिए सरकार ने आगामी सीजन में गन्ने के न्यूनतम समर्थन मूल्य में 32.74 फीसदी का इजाफा कर दिया है।
आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति ने गन्ने का मूल्य 107.76 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया है। गृह मंत्री पी चिदंबरम ने आज बताया कि इस कदम से किसानों को गन्ना उपजाने की प्रेरणा मिलेगी और गन्ने की फसल बढ़ जाएगी।
2008-09 के सीजन में चीनी उत्पादन काफी कम हो गया और तीन साल में सबसे निचले स्तर पर आकर यह आंकड़ा महज 147 लाख टन रह गया। माना जा रहा है कि इसकी वजह किसानों का गन्ना कम उपजाना रहा।
भारतीय चीनी मिल संघ के महानिदेशक एस एल जैन ने कहा, 'यह बहुत अच्छा कदम है और गन्ने की खेती पर इसका काफी अच्छा असर पड़ेगा। गन्ने का उत्पादन बढ़ने से चीनी मिलें भी अपनी क्षमता का ज्यादा से ज्यादा इस्तेमाल कर पाएंगी। इसके अलावा मदिरा उत्पादन और दूसरे उद्योगों में भी मदद मिलेगी।'
लेकिन सरकार ने यह कीमत उत्तर प्रदेश, बिहार और हरियाणा के लिए लागू नहीं की है। इन राज्यों की सरकारें अपनी कीमत तय करती हैं, जो केंद्र सरकार के मूल्यों से ज्यादा ही होती है। बजाज हिंदुस्तान और बलरामपुर चीनी की यूपी स्थित मिलों से पिछले साल एक क्विंटल गन्ने के लिए 140 से 145 रुपये दिए गए थे। (BS Hindi)

कोई टिप्पणी नहीं: