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26 दिसंबर 2009

फरवरी में नई फसल आने पर और घट सकते हैं हल्दी के दाम

चालू फसल सीजन में देश में हल्दी का उत्पादन 25 फीसदी बढ़ने की संभावना है। इसीलिए निर्यातकों के साथ घरेलू मांग भी कम हो गई है। जिससे पिछले सवा महीने में इसकी कीमतों में करीब 23 फीसदी की गिरावट आ चुकी है। निजामाबाद मंडी में हल्दी के भाव घटकर 10,200 रुपये प्रति क्विंटल रह गए। 15 जनवरी के बाद आवक शुरू हो जाएगी तथा फरवरी में आवक का दबाव बनने पर मौजूदा कीमतों में और भी करीब 20-25 फीसदी की गिरावट आने की संभावना है।निजामाबाद स्थित मैसर्स मनसाराम योगेश कुमार के प्रोपराइटर पूनम चंद गुप्ता ने बताया कि चालू सीजन में देश में हल्दी का उत्पादन 25 फीसदी बढ़ने की संभावना है। पिछले साल देश में हल्दी का कुल उत्पादन 43 लाख बोरी (प्रति बोरी 70 किलो) का हुआ था जबकि चालू सीजन में उत्पादन बढ़कर 54-55 लाख बोरी होने की संभावना है।इस समय उत्पादक मंडियों में करीब ढ़ाई लाख बोरी का स्टॉक बचा हुआ है जबकि पिछले साल इस समय छह-सात लाख बोरी का बकाया स्टॉक बचा हुआ था। हल्दी की सालाना खपत घरेलू और निर्यात मिलाकर 45-47 लाख बोरी की होती है। 15 जनवरी के बाद नई फसल की आवक शुरू हो जाएगी तथा फरवरी में आवक का दबाव बन जाएगा। इसलिए हल्दी की मौजूदा कीमतों में और भी 20-25 फीसदी की गिरावट आने के आसार हैं। इरोड़ स्थित मैसर्स ज्योति ट्रेडिंग कंपनी के प्रोपराइटर सुभाष गुप्ता ने बताया कि नई फसल को देखते हुए निर्यातक फिलहाल इंतजार कर रहे हैं। जबकि घरेलू मांग भी पहले की तुलना में घटी है। इस समय इरोड़ मंडी में करीब 80 हजार बोरी और डुग्गीराला में लगभग 75 हजार बोरियों का स्टॉक बचा है।नई फसल के उत्पादन में बढ़ोतरी को देखते हुए स्टॉकिस्टों ने पहले की तुलना में बिकवाली बढ़ा दी है जिसके कारण हाजिर बाजार में पिछले सवा महीने में इसकी कीमतों में करीब 23 फीसदी की गिरावट आ चुकी है। शुक्रवार को निजामाबाद मंडी में हल्दी के भाव घटकर 10,200 रुपये और इरोड़ में 10,500 रुपये प्रति क्विंटल रह गए। नवंबर महीने के मध्य में निजामाबाद में हल्दी के भाव ऊंचे में 13,200 रुपये और इरोड़ में 13,500 रुपये प्रति क्विंटल हो गए थे। पिछले साल की समान अवधि में इन मंडियों में हल्दी के भाव 3900-4000 रुपये प्रति क्विंटल थे। निवेशकों की मुनाफावसूली से नेशनल कमोडिटी एंड डेरिवेटिव्स एक्सचेंज लिमिटेड (एनसीडीईएक्स) में हल्दी के अप्रैल महीने के वायदा अनुबंध में पिछले पंद्रह दिनों में लगभग तीन फीसदी की गिरावट आई है। 9 दिसंबर को वायदा में इसके भाव 7,355 रुपये प्रति क्विंटल थे जोकि 24 दिसंबर को घटकर 7,120 रुपये प्रति क्विंटल रह गए। भारतीय मसाला बोर्ड के अनुसार चालू वित्त वर्ष के अप्रैल से अक्टूबर महीने के दौरान भारत से हल्दी के निर्यात एक फीसदी का इजाफा होकर कुल निर्यात 33,750 टन का हुआ है जबकि पिछले साल की समान अवधि में 33,575 टन का हुआ था। (बिज़नस भास्कर....आर अस राणा)

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