कुल पेज दृश्य

27 अप्रैल 2012

एथनॉल को बढ़ावा किसान और उद्योग के हित में : खाद्य सचिव

गन्ना उत्पादकों के साथ ही उद्योग के हितों के लिए एथनॉल के उपयोग को बढ़ावा देने की आवश्यकता है। इंटरनेशनल शुगर काउंसिल की 41वीं बैठक के बाद संवाददाता सम्मेलन में केंद्रीय खाद्य सचिव डॉ. बी. सी. गुप्ता ने कहा कि विश्व में एथनॉल के उत्पादन और उपयोग की अपार संभावनाएं है।

चीनी उद्योग को नियंत्रण मुक्त करने के सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि इस मुद्दे पर गठित प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद के अध्यक्ष सी. रंगराजन की अध्यक्षता में गठित समिति काम कर रही है। समिति की अगली बैठक तीन मई को प्रस्तावित है।

उन्होंने कहा कि रूस और यूरोपीय देशों में चुकंदर की पैदावार में बढ़ोतरी का कारण चीनी की ज्यादा मात्रा मौजूद होना है जबकि भारत में गन्ने का अतिरिक्त उत्पादन करके चीनी और एथनॉल की उपलब्धता बढ़ाई जा सकती है।

उन्होंने कहा कि अभी तक हुई गन्ने की बुवाई के आधार पर आगामी पेराई सीजन में भी देश में चीनी का उत्पादन बढऩे की संभावना है। चालू पेराई सीजन में चीनी के उत्पादन में बढ़ोतरी को देखते हुए फिलहाल चीनी की कीमतों में तेजी की संभावना नहीं है। आईएसओ के कार्यकारी निदेशक डॉ. पीटर बेरोन ने इस अवसर पर कहा कि विश्व में चीनी का बकाया स्टॉक 60 लाख टन से अधिक रहने का अनुमान है। ज्यादा बकाया स्टॉक ब्राजील और अमेरिका में ज्यादा उत्पादन की संभावना के कारण है।

उन्होंने कहा कि चीनी उत्पादन में भारत विश्व में दूसरा सबसे बड़ा उत्पादक देश है तथा चालू पेराई सीजन में भारत ने बड़ी मात्रा में चीनी का निर्यात किया है। आगामी पेराई सीजन में भी उत्पादन ज्यादा होने का अनुमान है। (Business Bhaskar....R S Rana)

कोई टिप्पणी नहीं: